रायपुर । न्यायाधिपति गौतम भादुड़ी, न्यायाधीश, छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय बिलासपुर और कार्यपालक अध्यक्ष, छत्तीसगढ़ राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण बिलासपुर ने कोरबा में नेशनल लोक अदालत का विधिवत शुभारंभ किया। इस अवसर पर अपने संबोधन में न्यायाधिपति श्री भादुड़ी ने कहा कि लोक अदालत का उद्देश्य व कोशिश है कि आपसी झगड़े और विवाद में जल्द से जल्द विराम लगे। लोक अदालत से दोनों पार्टी संतुष्ट होकर घर जाते हैं। कई ऐसे मामले होते है जिसमें प्रकरण दाखिल होने के साथ जीत-हार की संभावना रहती है। इसके विरूद्ध हाईकोट, सुप्रीम कोर्ट में अपील होती है और एक वकील तथा न्यायाधीश के रूप में मेरा अनुभव है कि मुकदमा लड़ना कितना खर्चीला होता है। उन्होंने कहा कि यदि कोई विवादी है, मुकदमें में उलझा है तो दिमाग में हमेंशा तनाव बना रहता है, जिससे तबीयत भी खराब होती है। आप जो उन्नति करना चाहते है, जीवन में आगे बढ़ना चाहते हैं, उसमें कही न कही रोक लग जाता है।

न्यायाधीश श्री भादुड़ी ने कहा कि जब तक समाज है, इसमें झगड़ा होते रहेगा, क्योंकि यह समाज के साथ ही चलने वाली बात है। आप फोटोग्राफी में देखे होंगे कि निगेटिव्ह से ही पॉजीटिव फोटो बनता है। सोसायटी में भी निगेटिव्ह चीजें रहती है, जब तक लोग है, कुछ न कुछ आपसी विवाद भी रहेगा। लोक अदालत का मंच एक प्रयास है कि विवादों को कम करने के साथ सुलझने योग्य प्रकरणों को सुलझाने की। न्यायाधिपति श्री भादुड़ी ने कहा कि राष्ट्रीय स्तर पर प्रकरणों को सुलझाने के मामले में छत्तीसगढ़ राज्य अन्य कई बड़े राज्यों से आगे है, इसके लिए न्यायाधीश, अधिवक्तागण तथा पक्षकार बधाई के पात्र है।