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छत्तीसगढ़ शांति का टापू है और कानून व्यवस्था को बनाए रखना हमारी प्राथमिकता-बघेल

by Bhupendra Sahu
  • कलेक्टर्स कॉन्फ्रेंस में श्री बघेल ने कहीं बातें

रायपुर। छत्तीसगढ़ शांति का टापू है और कानून व्यवस्था को बनाए रखना हमारी प्राथमिकता है। उक्त बातें प्रदेश के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आज कानून व्यवस्था की समीक्षा करते हुए कहीं। मुख्यमंत्री श्री बघेल की अध्यक्षता में यहां न्यू सर्किट हाउस के ऑडिटोरियम में कलेक्टर्स कॉन्फ्रेंस हुई। श्री बघेल ने बैठक में ग्रास रूट पर अधिकतम ध्यान केंद्रित करने पर दिया जोर। उन्होंने कहा कि मंत्रालय से लिए गए निर्णय को धरातल पर पहुंचाने का बीड़ा जिला प्रशासन पर है। इसकी समीक्षा आंकड़ों से नहीं, छत्तीसगढ़ के नागरिकों को इन योजनाओं से पहुंचे प्रत्यक्ष लाभ से आंकलन किया जाएगा।
मुख्यमंत्री श्री बघेल ने कहा कि राजस्व प्रशासन के कार्य सीधे तौर पर किसानों, आम नागरिकों से जुड़े हुए हैं। जिला प्रशासन इसे सर्वोच्च प्राथमिकता दे। उन्होंने कहा कि शासन और प्रशासन के मध्य परस्पसर संवाद आवश्यक है, इसीलिए आज हम सब यहां एक परिवार की भांति उपस्थित हैं। उन्होंने कहा कि कोविड महामारी में प्रशासन ने बहुत बेहतर ढंग से कार्य किया है। आज छतीसगढ़ की अभिनव परियोजनाओं के कारण छत्तीसगढ़ मॉडल की चर्चा पूरे देश में हो रही है।

श्री बघेल ने कहा कि कानून व्यवस्था की जिम्मेदारी जिला दंडाधिकारी की है। जिला दंडाधिकारी को टीम लीडर के रूप में कार्य करना है। उन्होंने कहा कि कानून व्यवस्था की निरंतर निगरानी सुनिश्चित करते हुए सोशल मीडिया के माध्यम से फैल रहे अफवाह और दुष्प्रचार का कठोरता से खंडन जरूरी है। जिला दंडाधिकारी साप्ताहिक समीक्षा बैठक के पूर्व पुलिस अधीक्षक, कार्यपालिक दंडाधिकारियों के साथ क़ानून-व्यवस्था की समीक्षा करें। इस बैठक में पिछले सप्ताह की स्थिति की समीक्षा की जाए और आने वाले सप्ताह में कानून-व्यवस्था की स्थितियों का पूर्वानुमान लगाएं और रणनीतिक योजनायें बनायें। शासन प्रशासन की पैठ स्थापित होनी चाहिए।

कानून व्यवस्था की समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रशासन की सजगता से ही कानून व्यवस्था की स्थिति बेहतर हो सकती है। संचार क्रांति के दौर में एक स्थान की घटना का असर पूरे प्रदेश और देश में होता है, इसलिए जिम्मेदारी बहुत अधिक है। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ शांति का टापू है, कानून व्यवस्था को बनाए रखना हमारी प्राथमिकता है। सोशल मीडिया पर उचित पर्यवेक्षण जरूरी है। सूचना ही शक्ति है, जिला प्रशासन का सूचना तंत्र सुदृढ़ किया जाना जरूरी है। गलत तथ्यों का खंडन करें, अफवाह न फैलने दें।

श्री बघेल ने कहा कि प्रशासन का इकबाल होना चाहिए। विरोध प्रदर्शन से मुझे परहेज नहीं है लेकिन योजनाबद्ध रूप से माहौल बिगाडऩे की साजिश को सफल नहीं होने दिया जाना है। जिले का आसूचना तंत्र विकसित करें। हर हाल में सौहाद्र्र का वातावरण बना रहना चाहिए। सांप्रदायिक सद्भाव छत्तीसगढ़ी संस्कृति की पहचान है, किसी भी व्यक्ति या संस्था को इसे बिगाडऩे नहीं दिया जाएगा।

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